पटना: इंसान की बुद्धि का सबसे ज्याद विकास बिहार में होता है। ऐतिहासिक परिदृश्य में भी जो लोग बिहार से हुए हैं, वे काफी प्रभावित करते हैं। ऐसा मनाना है जब वी मेट और हाइवे फेम निर्देशक इम्तियाज अली का। बिहार राज्य फिल्म विकास एवं वित्त निगम और कला संस्कृति विभाग, बिहार के संयुक्त तत्वावधान 09 दिसंबर से आयोजित हो रहे पटना फिल्म फेस्टिवल 2016 की पूर्व संध्या पर आयोजित संवाददाता सम्मेलन में इम्तियाज अली ने कहा कि पटना से मेरा रिश्ता आठ साल पुराना है। यहां आना उनके लिए खुशी की बात है। उन्होंने नए और युवा फिल्म मेकरों को अपने उपर विश्वास करने की बात कही। उन्होंने कहा कि आप खुद पर भर रखें, सारी दुनिया आपका इंतजार कर रही है।
इससे पहले बिहार राज्य फिल्म विकास एवं वित्त निगम गंगा कुमार ने पटना फिल्म फेस्टिवल 2016 के बारे में विस्तार से जानकारी देते हुए बताया कि इस महोत्सव का थीम ‘हमारा बिहार, जय बिहार’ है। इस आयोजन में दो तरह की फिल्मों का चयन किया गया, जिसमें एक है प्रतिस्पर्धात्मक और कलात्मक। श्री कुमार ने बताया कि 09 दिसंबर से 16 दिसंबर तक चलने वाले पटना फिल्म फेस्टिवल कई मायनों में अलग है। प्रतिस्पर्धात्मक फिल्में, यंग क्रिटिक प्रतिस्पर्धा, अवार्ड, बिहार के विभिन्न भाषाओं से फिल्म में योगदान के लिए सम्मान समारोह, पैनल डिस्कशन, भाजेपुरी-मैथिली-अंगिका-वज्जिका भाषा की फिल्मों का प्रदर्शन इस महोत्सव का प्रमुख आकर्षण होगा। श्री कुमार ने बताया कि पटना फिल्म फेस्टिवल 2016 की ज्यूरी सारिका, फरीदा मेहता और परेश कामदार शामिल हैं। फिल्मों के सलेक्शन के लिए पूर्व आईएएस आर एन दास के नेतृत्व में एक कमेटी बनाई गई थी, जिसमें वरिष्ठ फिल्म समीक्षक अजय ब्रह्ममात्मज, अविनास दास शामिल थे।
श्री कुमार ने बताया कि पटना फिल्म फेस्टिवल 2016 का उद्घाटन 09 दिसंबर को कला, संस्कृति एवं युवा विभाग के मंत्री शिवचंद्र राम करेंंगे। इस दौरान विकास आयुक्त शिशिर सिन्हा, बिहार राज्य फिल्म विकास एवं वित्त निगम गंगा, जब वी मेट और हाइवे फेम निर्देशक इम्तियाज अली, गुटरूगूं फेम अभिनेता के के गोस्वामी, भोजपुरी के बहु चर्चित अभिनेता कुणाल सिंह, अभिनेता क्रांति प्रकाश झा, अभिनेता विनीत कुमार समेत कई सम्मानित जन शामिल होंगे। उन्होंंने बताया कि पटना फिल्म फेस्टिवल 2016 के लिए तीन स्क्रीन का चुनाव किया गया, जिसमें रीजेंट सिनेमा में हिंदी, रविंद्र भवन स्थित एक स्क्रीन पर भोजपुरी और एक स्क्रीन पर शॉट डॉक्यूमेंट्री फिल्में दिखाई जाएंगी।
संवाददाता सम्मेलन को संबोध्ाित करते हुए सूचना एवं प्रसारण विभाग, भारत सरकार की डिप्टी डायरेक्टर तनु रही ने बताया कि पटना फिल्म महोत्सव मनोरंजन के साथ – साथ युवा फिल्म मेकरों को भी गाइड करेगा। इस महोत्सव में हमने भारतीय पैनोरमा की अच्छी फिल्मों के पैकेज उपलब्ध कराए हैं। साथ ही भारतीय कांटक्स्ट में इंटरनेशनल पैनोरमा की भी कुछ फिल्में देखने को मिलेंगी। वहीं, संवाददाता सम्मेलन को संबोधित करते हुए भोजपुरी सिनेमा के सुपर स्टार कुणाल सिंह ने कहा कि बिहार सरकार और कला संस्कृति विभाग के साथ – साथ बिहार राज्य फिल्म विकास एवं वित्त निगम ने बिहार में सिनेमा को जो महत्व दिया है, वो सराहनीय है। सिनेमा पर बात करते हुए श्री सिंह ने कहा कि हिंदुस्तान की सिनेमा से भोजपुरी को अलग नहीं किया जा सकता है। ब्लैक एंड ह्वाइट के जामने से ही हिंदी सिनेमा में भोजपुरी भाषा का हस्तक्षेप रहा है।
संवाददाता सम्मेलन में बिहार राज्य फिल्म विकास एवं वित्त निगम की विशेष कार्य पदाधिकारी शांति व्रत, गुटरूगूं फेम अभिनेता के के गोस्वामी, अभिनेता विनीत कुमार, अभिनेता क्रांति प्रकाश झा, फिल्म समीक्षक विनोद अनुपम, मीडिया प्रभारी रंजन सिन्हा मौजूद रहे।